कंधे की अकड़न – Frozen Shoulder In Hindi
आज के लाइफ स्टाइल ने हमारे स्वास्थ्य के कई स्तरों को बहुत अधिक नुकसान पहुंचाया है। जब कोई व्यक्ति सेहत के प्रति लापरवाही दिखाता है और नियमित रूप से व्यायाम न करता है उसे पीठ, कमर और कंधे में दर्द जैसी समस्याएं होने लगती हैं। फ्रोजन शोल्डर या जकड़ा हुआ कंधा भी ऐसी ही समस्याओं में से एक है।
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इस रोग के होने पर कंधे की हड्डियों को मूव करना या हिलाना-डुलाना बहुत ही मुश्किल भरा होने लगता है। मेडिकल की भाषा में इस रोग को एडहेसिव कैप्सूलाइटिस के नाम से जाना जाता है। हर व्यक्ति के शरीर में जॉइंट होते हैं जिसके बाहर एक कैप्सूल होता है।
जब किसी व्यक्ति को फ्रोजन शोल्डर की समस्या हो जाती है तो उस व्यक्ति के ये कैप्सूल स्टीफ़ या सख्त हो जाते हैं। इस रोग के होने पर यह दर्द धीरे-धीरे और अचानक शुरू होता है और फिर पूरे कंधे को जाम कर देता है। यह दर्द कभी-भी और खिन भी अचानक से ही होता है।
कई बार ऐसा होता है कि कोई व्यक्ति गाड़ी ड्राइव कर रहा होता है और वह अपने बगल या पीछे वाली सीट से कोई सामान लेने के लिए घूमने चाहते हैं लेकिन ऐसा नहीं कर पाते हैं तब उस व्यक्ति को कंधे में दर्द होता है जिसे हम फ्रोजन शोल्डर के नाम से जानते हैं। कई बार ऐसा होता है कि गर्दन के किसी भी दर्द को फोजं सोल्डर समझ लिया जाता है जबकि ऐसा नहीं होता।
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यह दर्द आमतौर पर तब होता है जब कंधे के आसपास हो जोड़े हैं उनमें सूजन आने की समस्या हो जाती है। हर व्यक्ति का कंधा तीन हड्डियों से मिलकर बना होता है। ये तीनों हड्डियाँ एक गोल सॉकेट में फिट होती हैं जिसे सॉकेट ग्लेनोइड के नाम से जाना जाता है।
कंधे की अकड़न (फ्रोजन शोल्डर) के कारण-Frozen Shoulder Causes In Hindi
1. चोट से : जब किसी व्यक्ति को कंधे में चोट लग जाती है तो उस व्यक्ति को यह समस्या प्रायः हो सकती है। जब किसी व्यक्ति को कंधे में परेशानी होती है जिससे छुटकारा पाने के लिए व्यक्ति कंधे की सर्जरी करवाते हैं तब भी व्यक्ति को यह रोग हो जाता है।
2. रोगों से : जो लोग मधुमेह के स्तर के अचानक से बढ़ जाने या घट जाने की समस्या से, ह्रदय से संबंधित रोगों की समस्याओं से और पार्किसन आदि बिमारियों से ग्रस्त होते हैं उन्हें इस रोग के होने का बहुत अधिक खतरा रहता है।
3. सर्वाइकल से : जब किसी व्यक्ति को सर्वाइकल डिस्क की समस्या हो जाती है तो उस व्यक्ति को गर्दन में दर्द हो जाता हिया क्योंकि यह रीढ़ की हड्डी को बहुत अधिक प्रभावित करता है जिसकी वजह से भी व्यक्ति को गर्दन में दर्द होने लगता है।
कंधे की अकड़न (फ्रोजन शोल्डर) के लक्षण-Frozen Shoulder Symptoms In Hindi
1. मूविंग में परेशानी : जब किसी व्यक्ति को कंधे में जोड़ों में दर्द या कंधा जकड़ा हुआ महसूस होता हो तो उस व्यक्ति को अपने कंधे को हिलाने डुलाने में परेशानी होती है जिसकी वजह से व्यक्ति के जोड़ों पर जोर पड़ता है जिसकी वजह से उसे अपने जोड़ों को हिलाने डुलाने में बहुत परेशानी होती है।
2. रात में दर्द बढना : जब किसी व्यक्ति को कंधे के जोड़ों में दर्द होने लगता है या सूजन हो जाती है तो कई बार ऐसा होता है कि व्यक्ति जो कंधा प्रभावित होता है उसी पर अपना सारा बल करके सो जाता है जिसकी वजह से व्यक्ति को रात के समय यह दर्द अधिक बढ़ जाता है।
3. सामान उठाने में समस्या होना : जब कोई व्यक्ति बहुत अधिक भारी सामान उठाता है तो इससे उसके जोड़ों पर प्रभाव पड़ता है जिसकी वजह से उसके जोड़ों में सूजन आ जाती है। सूजन आने की वजह से उसे अपने जोड़ों में दर्द का एहसास होने लगता है।
कंधे की अकड़न (फ्रोजन शोल्डर) का इलाज-Frozen Shoulder Treatment In Hindi
1. रोजमेरी के सेवन से इलाज :
अगर आप अपने कंधे को हिला नहीं पा रहे हैं या आपको कंधे में बहुत अधिक दर्द हो रहा है तो आप रोजमेरी का सेवन कर सकते हैं क्योंकि यह इस समस्या को ठीक करने में बहुत फायदेमंद होती है। आप इसके फूल को पानी के साथ उबालकर इसका काढ़ा बना लें और उसका सेवन करें इससे आपकी समस्या बिलकुल ठीक हो जाएगी।
2. हल्दी के सेवन से इलाज :
अगर आपको कंधे के जोड़ में परेशानी हो गई है तो आप हल्दी का सेवन कर सकते हैं क्योंकि हल्दी में एंटी बायोटिक गुण पाए जाते हैं। आप रात के समय एक गिलास दूध को गर्म करें और उसमें एक या आधे चम्मच हल्दी मिलाकर उसका सेवन करें इससे आपकी समस्या ठीक हो जाएगी।
कंधे की अकड़न (फ्रोजन शोल्डर) से बचाव के उपाय-Prevention of Frozen Shoulder In Hindi
- रोगी को प्रतिदिन नियमित रूप से व्यायाम करना चाहिए ताकि उसे यह समस्या बार-बार न हो।
- रोगी को स्वस्थ और पोषण देने वाले आहार का सेवन करना चाहिए।
- रोगी को आइस पेक से सेक करनी चाहिए और आराम करना चाहिए।
- रोगी को बाहरी वजन को उठाने में परहेज करना चाहिए।
- रोगी को धुम्रपान न लरने दें क्योंकि यह इससे बढ़ सकता है।
कंधे की अकड़न (फ्रोजन शोल्डर) में क्या खाएं-Eat In Frozen Shoulder In Hindi
- रोगी को गर्म सूप, आदि तरल पदार्थों का सेवन करना चाहिए।
- रोगी को अदरक, लहसुन, फूलगोभी, ब्रोकली, पत्तागोभी, रतालू, आदि सब्जियों का सेवन करना चाहिए।
- रोगी को बेरी, अनानास, लाल अंगूर, आदि फलों का सेवन करना चाहिए।
कंधे की अकड़न (फ्रोजन शोल्डर) में क्या न खाएं-Do Not Eat In Frozen Shoulder In Hindi
- जिन लोगों को यह समस्या हो जाए वे तैलीय, पेस्ट्री, केक, कुकीज, शराब, सिगरेट, आदि का सेवन नहीं करना चाहिए।